
दवा तस्कर सरगना एसटीएफ ने दून के इस इलाके से दबोचा, इन नामी कंपनियों की बनाते थे नकली दवाईयां
देहरादून, ब्यूरो। उत्तराखंड एसटीएफ को एक बड़ी कामयाबी हासिल हुई है जहां एक प्रतिष्ठित दवाई कंपनियों के ब्रांड बनाने वाले दवाइयों के सरगना को गिरफ्तार करते हुए एक बड़ा खुलासा किया है। आपको बताते चलें कि एसटीएफ को प्रतिष्ठित दवाई कंपनियों के ब्रांड के नाम से नकली दवाई तैयार कर भारत के कई राज्यों में बेची जाने की खबर एसटीएफ को मिली थी जिस पर कार्रवाई करते हुए देश में नकली/फर्जी दवाइयों को आमजनमानस को बिकी किए जाने के सम्बन्ध में विभिन्न दवाई कम्पनियों एंव सोशल मीडिया प्लेटफार्म के माध्यम से शिकायतें प्राप्त हो रहीं थी। वर्तमान में नकली दवाईयों को तैयार कराकर विभिन्न राज्यों में विक्रय किए जाने को लेकर सक्रिय गिरोहों की खिलाफ कार्यवाही करना एसटीएफ के लिए भी चुनौती रहा है और वो इसके लिए लगातार प्रवास करती रहती है।
इसी क्रम में नकली दवाइयों के विक्रय के विरुद्ध गिरोह के खिलाफ कार्यवाही करने और रोकथाम व धरपकड हेतु पुलिस महानिदेशक दीपम सेठ उत्तराखण्ड पुलिस द्वारा एसटीएफ को कार्यवाही करने के निर्देश दिये गए थे। जिसके अनुक्रम में एसएसपी एसटीएफ श्री नवनीत सिंह भुल्लर द्वारा अपनी टीमों को स्पष्ट निर्देशित किया गया है कि इन नकली दवाईयों का बनाने वालों की कुंडली तैयार कर उनके खिलाफ कठोर कार्यवाही सुनिश्चित की जाए। इसी कम में एसटीएफ द्वारा पूर्व में 1 अभियुक्त संतोष कुमार को थाना सेलाकुई देहरादून क्षेत्र से गिरफ्तार किया गया था। इस मामले में एसएसपी एसटीएफ नवनीत सिंह भुल्लर द्वारा जानकारी देते हुए बताया कि दिनांक 01.06.2025 को प्रतिछित दवाई कम्पनियों (ग्लेनमार्क तेल्मा आम, तेल्मा 40, जीरो डोल एसपी आईपी लेबोरेटरीज एलटीडी, गबापिन एनटी इंटास फार्मा लिड., एल्केम हेल्थ साइंस पैन 40-, पैन ल., वॉवरन एसआर 100 डीआर.रेड्डी लैबोरेट्रीज, कोडेक्ट्स टीआर कफ सिरप कैडिला फार्मास्युटिकल्स के रैपर के नकली आउटर बॉक्स, लेबल एंव क्यूआर कोड भारी मात्रा के साथ एक व्यक्ति संतोष कुमार को पूर्व में गिरफ्तार किया गया था जिस सम्बन्ध में एसटीएफ टीम द्वारा आना सेलाकुई देहरादून पर अभियोग पंजीकृत कराया गया।
अभियुक्त संतोष कुमार द्वारा पूछताछ के दौरान बताया था कि यह नकली आउटर बॉक्स, लेबल्ल एंव क्यूआर कोड में अक्षय नाम के कहने पर छापकर उसको ट्रांसपोर्ट के माध्यम से भिवाक्षी राजस्थान अक्षय के दिये पते पर भेज देता था उसके मोबाईल नम्बर भी उपलब्ध कराये गये। प्रकरण की गम्भीरता देखते हुए उच्चाधिकारियों द्वारा इस अभियोग की विवेचना भी एसटीएफ को स्थान्तरित की गयी।